सिरमौर जिले के गिरिपार क्षेत्र आंजभोज के गांव भरली निवासी वीर सपूत आशीष कुमार अपने वतन की सेवा में बलिदान हो गए। 

Martyr Ashish Kumar: Mother's dream of decorating the Sehra was shattered, the pair of twin brothers got separ

हिमाचल प्रदेश के सिरमौर जिले के गिरिपार क्षेत्र आंजभोज के गांव भरली निवासी वीर सपूत आशीष कुमार अपने वतन की सेवा में बलिदान हो गए। मां संतरो देवी का अपने लाडले बेटे के सिर पर सेहरा बांधने का सपना था पर उन्हें क्या पता था कि होनी को कुछ और ही मंजूर है। वहीं जुड़वां भाइयों की जोड़ी भी टूट गई है।  बेटे की शहादत की खबर के साथ ही मां का सपना टूट गया। परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट गया है। गिरिपार के आंजभोज व पांवटा साहिब में शोक की लहर है। 

भूतपूर्व सैनिक संगठन पांवटा साहिब व शिलाई के उपाध्यक्ष नरेंद्र सिंह ठुंडू व पूर्व अध्यक्ष विरेंद्र सिंह चौहान ने कहा कि वीर सपूत आशीष कुमार ने मंगलवार को अरुणाचल प्रदेश में ‘ऑपरेशन अलर्ट’ के दौरान अपने कर्तव्यों का पालन करते हुए देश को अपना सर्वोच्च बलिदान दिया है लेकिन जवान के पूरे परिवार पर जैसे दुखों का पहाड़ टूट पड़ा। शहीद का जुड़वां भाई रोहित एक निजी कंपनी में सेवारत है।

आशीष कुमार का जन्म 14 मार्च 1999 को हुआ। वर्तमान में 19 ग्रेनेडियर बटालियन के अधीन अरुणाचल प्रदेश में सेवारत थे। करीब 6 साल पहले आशीष सेना में भर्ती हुआ। बताया जा रहा है कि अरुणाचल प्रदेश में सैन्य ऑपरेशनल गतिविधि के दौरान   सेना के वाहन के दुर्घटनाग्रस्त होने की खबर मिली। इसमें गिरिपार के भरली गांव के वीर सपूत आशीष के भी शहीद होने की खबर है। शहीद आशीष की पार्थिव देह वीरवार तक उनके पैतृक गांव पहुंचने की संभावना है। 

भूतपूर्व सैनिक संगठन पांवटा साहिब व शिलाई के उपाध्यक्ष नरेंद्र सिंह ठुंडू व पूर्व अध्यक्ष विरेंद्र सिंह चौहान समेत पदाधिकारियों ने गहरा शोक व्यक्त किया है। कहा कि भूतपूर्व सैनिक संगठन लगातार 19 ग्रेनेडियर के नुमाइंदों तथा परिवार से संपर्क में है, जिससे शहीद की पार्थिव देह जल्द से जल्द उनके पैतृक गांव पहुंच सके। 

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