कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में महिला प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ दुष्कर्म और निर्मम हत्या को लेकर डॉक्टर गुस्से में हैं। पीड़िता को न्याय देने और डॉक्टरों की सुरक्षा और दूसरी मांगों को पूरा करने को लेकर आईजीएमसी रेजिडेंट डॉक्टर एसोसिएशन की ओर से मंगलवार सुबह मुख्य गेट से पैदल मार्च निकाला गया। डॉक्टरों का दल पैदल मार्च करते हुए रीगल से ओक ओवर होते हुए सचिवालय पहुंचा। डॉक्टर मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू को ज्ञापन सौंपेंगे।
इसके अलावा अगर स्वास्थ्य मंत्री धनीराम शांडिल से भी मुलाकात कर डॉक्टरों की मांगों और समस्याओं के बारे में अवगत करवाया जाएगा। पैदल मार्च में बड़ी संख्या में शामिल डॉक्टरों ने हाथों में पोस्टर व बैनर लेकर कोलकाता मामले में आरोपियों को कड़ी सजा देने की मांग की। इसके अलावा मेडिकल कॉलेजों में मरीजों को सेवाएं देने वाले डॉक्टरों की सुरक्षा की मांग की। इसके अलावा मेडिपर्सन एक्ट लागू करने की मांग की।
कुल्लू जिला अस्पताल में डॉक्टरों की हड़ताल तीसरे दिन भी जारी
जिला अस्पताल कुल्लू में डॉक्टरों की हड़ताल तीसरे दिन भी जारी रही। इस दौरान सुबह करीब 9:30 बजे अस्पताल के सभी डॉक्टरों ने अस्पताल के बाहर आकर ओपीडी में काम बंद रखा। जबकि आपातकालीन सेवाएं लगातार जारी हैं। ओपीडी में उपचार की प्रक्रिया बंद होने से इसका असर आपातकालीन सेवाओं में देखने को मिल रहा है। आपातकालीन में इलाज के लिए मरीजों की संख्या बढ़ रही है। डाक्टरों का कहना है कि कोलकाता में हुई डॉक्टर प्रशिक्षु की हत्या को लेकर डॉक्टर अपनी सुरक्षा को लेकर सहमे हुए हैं। ऐसे में सरकार को चाहिए कि वह चिकित्सकों की सुरक्षा के लिए उचित कदम उठाएं।
नाहन में फैकल्टी एसोसिएशन ने मंगलवार को हड़ताल का नहीं किया समर्थन
डॉ. वाईएस परमार मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल नाहन में मंगलवार को तीन दिन बाद ओपीड़ी खुली। इसके के चलते यहां रोगियों की भारी भीड़ रही। पंजीकरण सहित ओपीड़ी के बाहर लंबी लाइनें देखने को मिलीं। कोलकाता में एक प्रशिक्षु चिकित्सक की दुष्कर्म के बाद निर्मम हत्या के बाद चिकित्सक हड़ताल पर हैं। मंगलवार को मेडिकल कॉलेज में रेजीडेंट चिकित्सक एसोसिएशन व सीएसए संघ हड़ताल जारी रही। हालांकि फैकल्टी एसोसिएशन ने मंगलवार को हड़ताल का समर्थन नहीं किया और चिकित्सकों ने ओपीड़ी में सेवाएं दीं। इससे रोगियों ने कुछ राहत मिली।