हिमाचल विधानसभा में लोकसभा की तर्ज पर शुरू हुआ शून्यकाल, इन विधायकों ने पूछे सवाल

Zero hour started in Himachal Vidhansabha on the lines of Loksabha, these MLAs asked questions

हिमाचल प्रदेश विधानसभा शीतकालीन सत्र के तीसरे दिन शुक्रवार को लोकसभा की तर्ज पर शून्यकाल  शुरू हुआ। दो दिन तक स्थगन प्रस्ताव पर चर्चा से गतिरोध बनने के चलते शून्यकाल शुरू नहीं हो पाया था। शून्यकाल शुरू करने का यह प्रयोग यूं तो मानसून सत्र में हो चुका था, लेकिन स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसिड्योर एसओपी) नहीं बनने पर उस समय इसे शीत सत्र के लिए टाला गया था। अब इसे एसओपी के साथ शुक्रवार को शुरू किया गया। विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने  शून्यकाल की घोषणा की। जनकराज ने भेड़पालकों की समस्याओं को उठाते हुए पहले प्रश्न की शुरुआत की।  इसके बाद केवल सिंह पठानिया और सुखराम चौधरी ने भी उठाए अपने क्षेत्रों से संबंधित विषय उठाए। शून्यकाल 12:00 से 12:30 बजे तक चला। 

नई पंचायतों के गठन का प्रस्ताव ग्राम सभा से पास होना जरूरी नहीं, विभाग को भी भेजे जा सकते हैं प्रस्ताव : मंत्री
शून्यकाल में बिलासपुर के भाजपा विधायक त्रिलोक जम्वाल ने नई ग्राम पंचायतों के गठन का मामला उठाया। उन्होंने कहा कि सरकार नई पंचायतें बना रही है। ग्राम सभा के प्रस्ताव मांगे गए हैं। सारा रिकॉर्ड हमारे पास है,  कैसे नई पंचायतें बनेंगी, इस व्यवस्था को सरकारी स्तर ठीक से लागू किया जाए। पंचायतों के अलावा विधायकों के पास भी इसके प्रस्ताव आ रहे हैं।  पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि जनगणना का काम चल रहा है। इसी बीच नई पंचायतों का भी गठन हो रहा है। केवल यह विधान नहीं है कि ग्राम पंचायत से इनका पास होना जरूरी है। इसके लिए सीधे भी विभाग को प्रस्ताव भेजे जा सकते हैं। इस संबंध में विभागीय स्तर पर भी विचार किया जा सकता है। मंत्री अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि अगर पंचायत के स्तर पर राजनीति की वजह से मामले नहीं बढ़ पा रहे हैं तो विभाग को सीधे भेजे प्रस्ताव पर भी विचार किया जा सकता है।।

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