
एचपीयू में एबीवीपी और एसएफआई के बीच खूनी संघर्ष का मामला सामने आया है। पुलिस के अनुसार दोनों छात्र संगठनों के बीच हुई मारपीट में तीन छात्रों को गंभीर चोटें आई हैं। हालांकि, छात्र संगठनों के अनुसार सात कार्यकर्ता घायल हुए हैं। बताया जा रहा है कि वॉल राइटिंग को लेकर छात्र संगठनों में पिछले कुछ दिनों से तनाव चल रहा था। मंगलवार सुबह फैकल्टी हाउस के समीप दोनों छात्र संगठनों के कार्यकर्ता भीड़ गए। इसमें तीन छात्रों को गंभीर चोटें आई हैं। इसके बाद पुलिस ने दोनों पक्षों को बुलाकर समझाैता करवाया, लेकिन बाद में फिर झड़प हो गई। पुलिस ने सूचना मिलते ही मौके पर पहुंचकर जांच शुरू कर दी है। माहौल को देखते हुए परिसर में पुलिस बल तैनात कर दिया गया है।
उधर, एबीवीपी और एसएफआई ने एक-दूसरे पर हमला करने के आरोप लगाए हैं। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय इकाई के इकाई मंत्री आशीष शर्मा ने जारी बयान में कहा कि करीब 15 दिनों से एसएफआई कार्यकर्ताओं की ओर से एबीवीपी की छात्रा कार्यकर्ताओं के ऊपर गलत टिप्पणियां करने के साथ गाली-गलौज व धमकी दी जा रही थी। इससे विश्वविद्यालय में हुड़दंग व आतंक का माहौल बना हुआ था। एबीवीपी का आरोप है कि मंगलवार सुबह करीब 10:00 बजे विद्यार्थी परिषद के कुछ कार्यकर्ता विश्वविद्यालय आ रहे थे, उस दौरान एसएफआई कार्यकर्ताओं ने दराट व राॅड़ से हमला किया गया। करीब 12:00 बजे एक बार फिर बालूगंज में एसएफआई की ओर से एबीवीपी के दो कार्यकर्ताओं पर दराट से हमला किया गया। उधर, एसएफआई ने भी एबीवीपी पर कैंपस में गुंडागर्दी का आरोप लगाया है। एसएफआई के अनुसार एबीवीपी कार्यकर्ताओं के हमले में उनके कई कार्यकर्ता घायल हुए हैं।