कुल्लू दशहरा में गले मिले देव, बानगी देख श्रद्धालु अचंभित

Gods embraced each other during Kullu Dussehra, devotees were amazed to see the example

 देव महाकुंभ में शिरकत करने पहुंचे देवी-देवताओं के मिलन की बानगी देख हजारों लोग अचंभित हो रहे हैं। हर दिन देवी-देवता भव्य देव मिलन कर रहे हैं। अकल्पनीय, अविश्वसनीय नजारे के देश-विदेश के सैलानी भी गवाह बन रहे हैं। देवी-देवताओं के दर्शन के लिए भी श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ रही है। अस्थायी शिविरों में ठहरे देवी-देवताओं का आशीर्वाद लेने के लिए दूर-दूर से श्रद्धालु पहुंचे हैं। मंगलवार को देवता व्यास ऋषि कुंईर आनी ने माता बूढ़ी नागिन घियागी बंजार और माता पंचालिका पुजाली बंजार से देव मिलन किया। देवता पांच वीर पुजाली ने भी देव मिलन किया है।

माता बूढ़ी नागिन के कारकूनों ने देवता व्यास ऋषि को अपने अस्थायी शिविर में आमंत्रित किया था। इसके बाद देवता ब्यास ऋषि अपने अस्थायी शिविर से दोपहर 1:10 बजे पूरे लाव लश्कर के साथ रवाना हुए और माता के शिविर पहुंचे।माता के देवलुओं ने भव्य स्वागत किया और माता से मिलन हुआ। साथ में ही माता पंचालिका पुजाली से भी मिलन हुआ। देवता के गूर इंद्र सिंह, मंदिर कमेटी के सचिव ठाकुर दास वर्मा, संगत राम ठाकुर ने कहा कि देवता निमंत्रण के बाद माता बूढ़ी नागिन के शिविर में गए और देव मिलन किया।

माता के कारदार जीवन प्रकाश, गूर भाग सिंह, भंडारी निहाल चंद ने कहा कि देव परंपरा के अनुसार देव व्यास को आमंत्रित किया गया था। जिला देवी-देवता कारदार संघ के अध्यक्ष दोत राम ठाकुर और उपाध्यक्ष शेर सिंह दीपक ने कहा कि कुल्लू का दशहरा देव और मानस के मिलन के लिए विख्यात है। दशहरा उत्सव के दाैरान देवी-देवताओं के समक्ष हजारों लोग शीश नवाने पहुंच रहे हैं। दर्शन के लिए तांता लगा हुआ है।

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