
हिमाचल प्रदेश में अनुबंध अवधि के लाभ देने वाली सभी अधिसूचनाएं और निर्देश विदड्रा कर दिए गए हैं। प्रदेश में सरकारी कर्मचारी भर्ती एवं सेवा शर्तें संशोधन विधेयक 2024 लागू होने पर शिक्षा विभाग ने यह फैसला लिया है। सहायक प्रवक्ताओं, आचार्यों सहित अन्य श्रेणियों के कई शिक्षकों से संबंधित प्रस्ताव अब रद्द माने जाएंगे। जारी पत्र में उच्च शिक्षा निदेशक ने कहा कि सहायक प्रवक्ताओं सहित अन्य श्रेणियों के शिक्षकों से संबंधित अनुबंध सेवाकाल से जुड़े वरिष्ठता और वित्तीय लाभ मांगने वाले सभी प्रस्ताव रद्द कर दिए गए हैं।
फाइलें बंद करने का फैसला
इस संबंध में जो भी प्रस्ताव संबंधित फाइलें चल रही हैं, उन्हें बंद करने का फैसला लिया गया है। 20 फरवरी 2025 से लागू हुए सरकारी कर्मचारी भर्ती एवं सेवा शर्तें संशोधन विधेयक 2024 के तहत यह फैसला लिया गया है। कर्मचारी अपनी सेवाओं के नियमितीकरण की तिथि से ही सेवा लाभ के हकदार होंगे। नियमित सेवा के अलावा अन्य सेवा के लिए पहले से दिए गए सेवा लाभ भी इनसे वापस लिए जाएंगे। विभागीय अधिकारियों ने बताया कि कई विभागों में कर्मचारियों को हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के आदेशों पर अनुबंध सेवाकाल का वरिष्ठता एवं वित्तीय लाभ दिया गया है।
रिकवरी भी होगी
ऐसे में सरकार ने अब फैसला लिया है कि उन याचिकाओं के याचिकाकर्ता, जिनका निर्णय सीडब्ल्यूपी संख्या 2004/2017, शीर्षक ताज मोहम्मद बनाम हिमाचल प्रदेश राज्य एवं अन्य है, के साथ-साथ सीडब्ल्यूपी संख्या 629/2023 के अनुरूप किया गया है और जिनकी सेवाओं को 12 दिसंबर 2003 के बाद नियमित किया है, वे नियमितीकरण से पहले उनके द्वारा की गई संविदा सेवाओं के लिए वरिष्ठता, वेतन वृद्धि, पदोन्नति आदि जैसे किसी भी लाभ के हकदार नहीं हैं।
रिकवरी भी होगी
गैर याचिकाकर्ताओं के अभ्यावेदनों को खारिज किया
इनके साथ-साथ गैर याचिकाकर्ताओं के अभ्यावेदनों को खारिज कर दिया है। जिन कर्मचारियों को ऐसे कोई लाभ दिए गए हैं, तो उन्हें तत्काल वापस लिया जाएगा। सभी विभागों ने लाभ प्राप्त करने वाले कर्मचारियों की सूचियां बनाना शुरू कर दिया है। इन्हें वित्तीय लाभ कितना हुआ है, इसकी जानकारी जुटाकर अब रिकवरी की जाएगी। वरिष्ठता का लाभ प्राप्त करने वालों को डिमोट किया जाएगा। विभागीय अधिकारियों ने बताया कि पूर्व में अनुबंध सेवाकाल का लाभ प्राप्त करने वाले कर्मियों की आगामी वेतन वृद्धि भी रोक दी जाएगी।